बीमा या इंश्योरेंस क्या है?-What is Insurance in Hindi?

हम सभी को जीवन में हेल्थ,लाइफ और यहां तक की नई बाइक खरीदने या फिर नया बिजनेस शुरू करने के लिए भी एक से अधिक बार इंश्योरेंस (Insurance) या बीमा(Bima) खरीदने की सलाह दी जाती हैं

लेकिन अक्सर हम इंश्योरेंस(Insurance) खरीदने से कतराते हैं, यह सोच कर के “मैं तो अभी जवान हूं, स्वस्थ हूं” तो मुझे क्या आवश्यकता है? या मैं बहुत अच्छी तरीके से कार चला सकता हूं तो मुझे कार के बीमा(Bima) या इंश्योरेंस (Insurance) की क्यों आवश्यकता है?

   इन विचारों के विपरीत सत्यता यह है कि हम चाहे कितने ही स्वस्थ हो, कितने ही युवा हो या आर्थिक रूप से कितने ही अच्छे हो या हम कितनी ही अच्छे ड्राइवर हो, हम सभी को बीमा(Bima) या इंश्योरेंस की आवश्यकता होती ही है क्योंकि यह एक सुरक्षा जाल के रूप में कार्य करता है जो किसी भी अप्रिय घटनाओं के कारण होने वाले फाइनैंशल लॉसेस (Financial Losses) की सुरक्षा करता है।

आइये इस आर्टिकल के माध्यम से जानते है की बीमा या इंश्योरेंस का क्या है?( Bima ya Insurance Kya Hai)?- Insurance Kya hota Hai? कैसे काम करता है?, कितने तरीके का होता है?, और यह क्यों जरुरी है?(insurance kyu jaruri hai)

बीमा या इंश्योरेंस क्या है?-Bima ya Insurance Kya Hai?-Insurance Meaning in Hindi

What-is-Insurance

  इंश्योरेंस(Insurance) को हिंदी में बीमा(Bima) करते हैं। बीमा(Bima) या इंश्योरेंस(Insurance) भविष्य की किसी भी अप्रिय घटना से होने वाले नुकसान की आशंका से निपटने में मदद करता है। हमें नहीं पता कि कल क्या होगा ? इसके लिए भविष्य में होने वाले संभावित नुकसान की भरपाई के लिए बीमा(Bima) करवाया जाता है।

इस प्रकार से इंश्योरेंस(Insurance) या बीमा(Bima) का मतलब असमय होने वाली जोखिम(Risk) से सुरक्षा है।

बीमा या इंश्योरेंस एक प्रकार का कॉन्ट्रैक्ट(Contract) है।

सामान्यतया दो या दो से अधिक व्यक्तियों के बीच में कानूनी रूप से लागू किए जा सकने वाले एग्रीमेंट को कॉन्ट्रैक्ट(Contract) करते हैं।

इस प्रकार से इंश्योरेंस कंपनी(Insurance Company) और बीमा या इंश्योरेंस(Insurance) कराने वाले व्यक्ति के बीच में एक लीगल एग्रीमेंट होता है जिसकी सारी टर्म्स एंड कंडीशन एक पत्र या बॉन्ड(Bond)  में लिखी जाती है जिसे इंश्योरेंस पॉलिसी (Insurance Policy) करते हैं।

अतः इंश्योरेंस(Insurance) वास्तव में इंश्योरेंस कंपनी और बीमा या इंश्योरेंस कराने वाले व्यक्ति के बीच में एक कॉन्ट्रैक्ट (Contract) है।

इस कॉन्ट्रैक्ट के अनुसार इंश्योरेंस कंपनी बीमा या इंश्योरेंस कराने वाले व्यक्ति से एक निश्चित धनराशि लेती है जिसे प्रीमियम(Premium) कहते हैं और इसके बदले में इंश्योरेंस कंपनी(Insurance Company) इंश्योरेंस कराने वाले व्यक्ति को पॉलिसी के टर्म्स एंड कंडीशन के हिसाब से किसी नुकसान की स्थिति में हर्जाना देती है।

  जीवन का क्या भरोसा आज है और कल नहीं, इसलिए हर इंसान को इतना इंतजाम करना बहुत जरूरी है ताकि अगर आने वाले समय में स्वास्थ्य(Health), दुर्घटना(Accident) और मृत्यु(Death) होने पर पीछे परिवार को परेशानी का सामना ना करना पड़े। 

  बीमा या इंश्योरेंस(Insurance) कराने के अनेक फायदे हैं, लेकिन सबसे जरूरी बात यह है कि जब आप अपने जीवन काल में किसी प्रकार का बीमा या इंश्योरेंस(Insurance) करा लेते हैं तो आप टेंशन फ्री(Tension Free) हो जाते हैं, बस आपको उसके नियम और शर्तों का पालन करना होता है।

इंश्योरेंस कैसे काम करता है?-Insurance kaise hota hai ?-How Does Insurance Work?

यह “रिस्क पुलिंग“(Risk Pooling) के सिद्धांत पर काम करता है। इस सिद्धांत के अनुसार जब आप कोई इंश्योरेंस कवर(Insurance Cover) के लिए इंश्योरेंस पॉलिसी(Insurance Policy) खरीदते हैं तो बीमा या इंश्योरेंस कंपनी (Insurance Company) को नियमित भुगतान ( जिसे की प्रीमियम कहते हैं) करते हैं, इसी तरह सभी कस्टमर से इंश्योरेंस कंपनी प्रीमियम इकट्ठे करते हैं और उसका एक पुल बनाती है।

यदि किसी प्रकार की असामायिक घटना घटित होती है और आप दावा करते हैं तो इंश्योरेंस पॉलिसी(Insurance Policy) के टर्म्स एंड कंडीशन के आधार पर नुकसान की भरपाई इंश्योरेंस कंपनी द्वारा पॉलिसीहोल्डर्स(Policy Holders) के प्रीमियम(Premium) के पुल से की जाती है।

बीमा या इंश्योरेंस क्यों जरूरी है?-Bima ya Insurance kyu jaruri hai – Importance of Insurance in Hindi

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यह समझना बहुत जरूरी है कि बीमा या इंश्योरेंस कितना महत्वपूर्ण है, जैसा कि हमने शुरुआत में ही कहा कि ज्यादातर लोग सोचते हैं कि बीमा एक अनावश्यक खर्च है। इसका कारण यह है कि हम अपने भविष्य में होने वाले अप्रिय घटनाओं के बारे में अनुमान नहीं लगा पाते।  इसलिए सभी को इंश्योरेंस करवाना चाहिए।

अब आपको बीमा या इंश्योरेंस(Insurance) कराने के 3 महत्वपूर्ण कारण बताते हैं :-

1. बीमा या इंश्योरेंस(Insurance) परिवार के फाइनैंशल स्थिरता सुनिश्चित करता है :-

‌‌ इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि आपकी मंथली इनकम(Monthly Income) क्या है या आप कितना पैसा बचा लेते  हैं,  कोई भी एक अप्रत्याशित घटना आपके परिवार कि आर्थिक स्थिति को खतरे में डाल सकती है।

 उदाहरण के लिए यदि आपके पास पर्याप्त लाइफ इंश्योरेंस(Life Insurance) नहीं है तो आपकी असामयिक मृत्यु होने पर आपके परिवार को आर्थिक तंगी से गुजरना पड़ सकता है। हालांकि कोई भी अमाउंट आप की जगह नहीं ले सकता है लेकिन इंश्योरेंस द्वारा आपके परिवार को भविष्य में होने वाले आर्थिक तंगी से गुजरने से बचाया जा सकता है।

2. इंश्योरेंस या बीमा मन की शांति लाता है :-

  बीमा या इंश्योरेंस कराने पर इंश्योरेंस कंपनी को दिया जाने वाला प्रीमियम(Premium) इस बात की गारंटी देता है कि किसी भी तरीके से अप्रत्याशित घटना की स्थिति में होने वाले नुकसान को इंश्योरेंस कंपनी कवर करेगी, इससे मानसिक शांति मिलती है

3. इंश्योरेंस कठिन समय के दौरान तनाव को कम करता है :-

इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि आप अपने जीवन को बेहतर बनाने के लिए कितनी कोशिश करते हैं लेकिन एक अप्रत्याशित घटना पूरी तरह से चीजों को बदल सकती है जिससे आप शारीरिक, मानसिक, भावनात्मक और फाइनेंशियल रूप से तनावपूर्ण हो सकते हैं।

पर्याप्त बीमा या इंश्योरेंस होने से इन सभी परिस्थितियों में मदद मिलती हैं। इस लिए कहते है की इंश्योरेंस बहुत जरूरी है(insurance jaruri hai)।

बीमा या इंश्योरेंस कितने प्रकार के होते हैं ?-How Many Types of Insurance ?

भारत में विभिन्न प्रकार के बीमा या इंश्योरेंस प्रोडक्ट उपलब्ध है। मुख्य रूप से इंश्योरेंस प्रोडक्ट को निम्न प्रकार वर्गीकृत किया गया है :-

लाइफ इंश्योरेंस (Life Insurance) प्रोडक्ट्स :-

लाइफ इंश्योरेंस आपको मृत्यु के जोखिम से बचाता है। जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) पॉलिसी कई प्रकार की है जैसे टर्म प्लान( term Plan), एंडोमेंट प्लान्स, मनी बैक प्लान और यूनिट लिंक इन्वेस्टमेंट प्लान आदि

जनरल इंश्योरेंस (General Insurance) प्रोडक्ट्स :-

जनरल इंश्योरेंस प्रोडक्ट्स मृत्यु के अलावा विभिन्न तरीके के जोखिम से होने वाले फाइनैंशल लॉस को कवर करते हैं जैसे हेल्थ इंश्योरेंस(Health Insurance), कार इंश्योरेंस(Car Insurance), मरीन इंश्योरेंस(Marin Insurance), लायबिलिटी इंश्योरेंस(Liability Insurance), ट्रैवल इंश्योरेंस(Travel Insurance) और कमर्शियल इंश्योरेंस (commercial Insurance), आदि

इंश्योरेंस प्रोडक्ट्स होना चाहिए-Must Have Insurance Products

इस प्रकार से बीमा या इंश्योरेंस एक प्रभावी रिस्क मैनेजमेंट टूल(Risk Management Tool) है। यह हमारे लिए कीमती है जो जीवन, हेल्थ, घर और बिजनेस आदि की रक्षा करता है।

बीमा की आवश्यकता एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में भिन्न हो सकती है लेकिन, प्रत्येक व्यक्ति के भविष्य को सुरक्षित रखने के लिए निम्न प्रकार के इंश्योरेंस प्रोडक्ट होने ही चाहिए :-

लाइफ इंश्योरेंस-Life Insurance :-

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आज के इस भागमभाग वाली जिंदगी में जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस(Life Insurance) प्रत्येक व्यक्ति के पास होना ही चाहिए। जीवन बीमा परिवार के मुखिया की मृत्यु होने की स्थिति में परिवार को आर्थिक या फाइनेंसियल सपोर्ट करता है।

अतः लाइफ इंश्योरेंस आपकी अनुपस्थिति में अपने प्रियजनों की फाइनेंशियल सिक्योरिटी सुनिश्चित करने के लिए एक महत्वपूर्ण आवश्यकता है।

स्वास्थ्य बीमा या हेल्थ इंश्योरेंस – Health Insurance :-

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हेल्थ की अनिश्चितता जीवन का हिस्सा है। जीवन में बीमारियों की संख्या बढ़ रही है और साथ ही में आजकल इलाज का खर्च बहुत तेजी से बढ़ रहा है । हेल्थ इंश्योरेंस लेने पर बीमार होने पर इंश्योरेंस कंपनी इलाज पर होने वाले खर्च को कवर करती है।

मोटर इंश्योरेंस – Motor Insurance :-

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मोटर व्हीकल एक्ट के अनुसार भारत में सड़क पर चलने वाले प्रत्येक वाहन का इंश्योरेंस कराना कानून के हिसाब से बहुत जरूरी है। दिन प्रतिदिन रोड एक्सीडेंट की बढ़ती हुई घटनाओं को देखते हुए  मोटर इंश्योरेंस पॉलिसी होना सबसे महत्वपूर्ण है।

एक्सीडेंटल एंड डिसेबिलिटी इंश्योरेंस-Accident and Disability Insurance :-

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एक्सीडेंट अनएक्सपेक्टेड होता है जिसके परिणाम स्वरूप डिसेबिलिटी या विकलांगता हो सकती है, जिसका प्रभाव आपके इनकम पर पड़ता है। इसलिए अपने और अपने परिवार के फाइनैंशल स्थिरता बनाए रखने के लिए एक्सीडेंट्स के खिलाफ इंश्योरेंस कराना महत्वपूर्ण है।

होम इंश्योरेंस-Home Insurance :-

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घर आपकी सबसे मूल्यवान संपत्ति में से एक है जिसमें कई कीमती सामान और यादें भी शामिल है। आपकी संपत्ति को विभिन्न रिस्क जैसे की चोरी, प्राकृतिक आपदाओं के कारण होने वाले नुकसान से बचाने के लिए होम इंश्योरेंस सबसे उपयुक्त उपाय है।

ट्रैवल इंश्योरेंस-Travel Insurance :-

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ट्रैवल इंश्योरेंस किसी यात्रा के दौरान होने वाले नुकसान से बचाते हैं। अगर कोई व्यक्ति किसी काम से या घूमने के लिए विदेश जाता है या यात्रा के दौरान सामान गुम हो जाता है तो इंश्योरेंस कंपनी उसे मुआवजा देती है।

  इस तरह से कई प्रकार के बीमा होते हैं जो हर व्यक्ति के लिए उपयुक्त हो यह आवश्यक नहीं है। इंश्योरेंस लेने से पहले उनसे होने वाले प्रॉफिट के बारे में विचार करना जरूरी होता है।

आपको किस प्रकार के बीमा या इंश्योरेंस की आवश्यकता है यह कैसे तय करें-How To Decide on Type of Insurance You Need?

इंश्योरेंस को लेने से पहले उसकी आवश्यकता को समझना महत्वपूर्ण है, इसके लिए निम्न बातों को ध्यान रखना जरूरी है :-

  1. कवर लेने का कारण,
  2. कौन कौनसी रिस्क है, जिसके लिए कवर लेना है,
  3. कितने समय के लिए कवरेज की आवश्यकता है,
  4. कितना प्रीमियम दे सकते हैं।

सारांश

इंश्योरेंस का मतलब जोखिम से सुरक्षा है। अगर कोई बीमा कंपनी किसी व्यक्ति का बीमा करती है तो उस व्यक्ति को होने वाले आर्थिक नुकसान की भरपाई बीमा कंपनी करेगी। इस तरह से सभी व्यक्तियों के लिए बीमा या इंश्योरेंस महत्वपूर्ण है।

उम्मीद है कि आपको यह आर्टिकल इंश्योरेंस क्या है ?(Insurance kya hai) और क्यों जरुरी है?(insurance kyu jaruri hai) पसंद आया होगा। इसके अलावा अगर आपके पास अभी भी इससे संबंधित कोई भी डाउट है या कोई बेहतरीन सुझाव हैं और इसमें कुछ सुधार होने चाहिए तो इसके लिए आप नीचे कमेंट लिख सकते हैं।।

People Also Ask

बीमा या इंश्योरेंस (Insurance) का अर्थ क्या है?

बीमा भविष्य में किसी नुकसान की आशंका से निपटने का प्रभावी हथियार है।

जीवन बीमा अनुबंध से आपका क्या आशय है?

जीवन बीमा ऐसा अनुबंध है जिसके अनुसार बीमाकर्ता (Insurer), बीमाकृत (Insured) को उसकी मृत्यु की स्थिति में या कुछ वर्षों के पूरा होने पर एक निश्चित रकम के भुगतान का वचन देता है।

क्या बीमा अनुबंध क्षतिपूर्ति(Indemnity Contract) का अनुबंध है?

बीमा के हर अनुबंध जैसे जीवन बीमा और व्यक्तिगत दुर्घटना और बीमारी बीमा क्षतिपूर्ति(Indemnity Contract) का अनुबंध है। इसलिए, बीमाकर्ता बीमित व्यक्ति द्वारा वास्तविक नुकसान का भुगतान करता है।

साधारण बीमा से आप क्या समझते हैं समझाइए?

साधारण बीमा में वाहन, घर, पशु, फसल, स्वास्थ्य बीमा आदि सभी शामिल है।

इंश्योरेंस कितने प्रकार का होता है?

1. संपूर्ण जीवन बीमा
2. टर्म जीवन बीमा
3. बंदोबस्ती की योजना
4. मनी-बैक नीति
5. यूनिट लिंक्ड बीमा योजना (ULIPs)
6. होम बीमा
7. मोटर बीमा
8. यात्रा बीमा

बीमा की सीमाएँ क्या है?-What is the limitations of Insurance?

1. सभी जोखिमों(Risks)का बीमा नहीं कराया जा सकता है।
2. ऊंची प्रीमियम रेट है।
3. बीमा लाभकारी इन्वेस्टमेंट नहीं है।
4. बीमा की ऊंची ऑपरेटिंग कॉस्ट है।
5. बीमा केवल फाइनेंसियल वैल्यू तक ही सीमित है।

3 thoughts on “बीमा या इंश्योरेंस क्या है?-What is Insurance in Hindi?”

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